गर्मियों में कहाँ जाए
अगर रोमांच से आपकी दोस्ती है और घूमना आपका शौक है तो यकीनन गर्मी के इस मौसम में आप किसी ऐसी जगह की तलाश में होंगे, जहाँ आपका शौक भी पूरा हो और गर्मियों की तपिश भी आपको छू न सके। हैंग ग्लाइडिंग, पैरा ग्लाइडिंग और गर्म गुब्बारे की सैर, अगर आपको कुछ इस तरह के खेलों में दिलचस्पी है तो कांगड़ा, धर्मशाला, दसौली, शिमला, शिलांग आदि कुछ स्थान आपको जरूर आकर्षित करेंगे।
अगर आप इन खेलों में वास्तविक रोमांच का अनुभव चाहते हैं तो कश्मीर और तमिलनाडु की नीलगिरि पर्वतश्रेणी आपको जरूर भाएगी। गर्मी की छुट्टियाँ दरवाजे पर खड़ी हैं। स्कूल बंद होने के बाद बच्चों की सिर्फ एक ही रट होती है कि इन छुट्टियों में हम कहाँ जा रहे हैं? दूसरी ओर, आर्थिक मंदी में न इस साल तनख्वाह बढ़ी और न ही प्रमोशन हुआ। आप जरूर परेशान होंगे कि इन छुट्टियों में परिवार को लेकर कहाँ जाएँ?
बदलाव की जरूरत तो आपको भी है। आखिर परिवार के बहाने ही सही, हफ्तेभर के लिए भी कहीं बाहर गए तो आप खुद को तरोताजा महसूस करेंगे। तो चलिए, हम आपकी मुश्किल आसान किए देते हैं। हम आपको कुछ ऐसी मनमोहक जगहों की जानकारी देते हैं जहाँ की खूबसूरती आपको तरोताजा कर देगी और आपकी जेब भी ज्यादा ढीली नहीं होगी। वक्त इस बात का ध्यान जरूर रखना चाहिए कि परिवार भीड़-भाड़ में परेशानी न उठाए बल्कि एक यादगार और खुशनुमा अनुभव लेकर लौटे।
इस बारे में ट्रेवल एजेंसी यात्रा डॉट कॉम की मुख्य परिचालन अधिकारी और सह-संस्थापक सबीना चोपड़ा बताती हैं, "प्रचलित पर्यटन स्थलों की अपेक्षा चैल, कसौली, भीमताल, लद्दाख, कानाताल, कुर्ग आदि स्थानों पर घूमने जाना समझदारीभरा निर्णय है।"
वहीं दूसरी ओर मेकमायट्रिप के बिजनेस डेवलपमेंट विभाग के उपाध्यक्ष अमित सब्बरवाल का मानना है, "गर्मियों में अक्सर लोग एक साथ कई शहरों के टूरिस्ट पैकेज का चुनाव करते हैं परंतु इस आर्थिक संकट के दौर में पर्यटक एक या दो शहर के पैकेज की ओर अधिक आकर्षित हो रहे हैं।"
ऐसे में उत्तर में कौसानी, अल्मोड़ा, चैल, चौकोरी, रानीखेत, औली, लेह, श्रीनगर, चंबा, कनताल, पूर्वोत्तर में गंगटोक, दार्जीलिंग, डलहौजी व दक्षिण में कुर्ग, ऊटी, मुन्नार, कोडाइकनाल, महाबलेश्वर आदि कुछ स्थान अच्छे विकल्प साबित हो सकते हैं।
उत्तराखंड स्थित कौसानी नामक हिल स्टेशन की प्राकृतिक छटा गर्मियों की छुट्टियों में ताजगी भरने के लिए अपने आप में पर्याप्त है। बागेश्वर जिले में बसा यह छोटा-सा हिल स्टेशन अल्मोड़ा से करीब 53 किलोमीटर उत्तर दिशा में स्थित है। हिमालय की 1890 मीटर ऊँची चोटी पर स्थित इस स्थान से करीब 350 किलोमीटर तक के हिमालय क्षेत्र (त्रिशूल, नंदादेवी और पंचकुली) के दर्शन होते हैं।
यहाँ देवदार के सघन वन हैं जिनके एक ओर सोमेश्वर घाटी और दूसरी ओर गरुड़ व बैजनाथ घाटी स्थित है। कसौनी से ही थोड़ा दक्षिण में स्थित अल्मोड़ा भी गर्मियों के हिसाब से उपयुक्त स्थान है। 1638 मीटर की ऊँचाई पर स्थित यह स्थान प्राकृतिक छटा से भरा हुआ है। अप्रैल से जून तक का समय यहाँ आने के लिए सबसे उपयुक्त है।
अल्मोड़ा 125 मंदिरों का समूह है। न सिर्फ मंदिर बल्कि कई पिकनिक स्पॉट भी अल्मोड़ा के आसपास हैं जहाँ सूर्योदय और सूर्यास्त देखने अक्सर लोग जाते हैं। इसी क्रम में उत्तराखंड का औली नामक हिल स्टेशन भी पर्यटन का सुंदर विकल्प है। हालाँकि यहाँ जाने का सही समय नवंबर से लेकर मार्च तक का महीना होता है जब यहाँ हिमपात होता है और बर्फ पर विविध प्रकार के खेलों के लिए पर्यटक आते हैं, पर गर्मियों में भी इस स्थान की प्राकृतिक सुंदरता मन मोह लेती है।
यदि आप हिमाचल प्रदेश की वास्तविक खूबसूरती का अनुभव लेना चाहते हैं और गर्मियों में शिमला की भीड़-भाड़ से बचना भी चाहते हैं तो शिमला के पास स्थित 'चैल' नामक हिल स्टेशन भी एक बेहतर विकल्प है। धरती का स्वर्ग कहा जाने वाला कश्मीर और श्रीनगर की खूबसूरती तो भला किसका मन नहीं मोहती है।
कश्मीर की वास्तविक सुंदरता देखनी है तो गुलमर्ग से सुंदर विकल्प और क्या हो सकता है। गुलमर्ग जितना गर्मियों में लोकप्रिय है, उतनी ही यहाँ की सर्दियाँ भी लोगों को भाती हैं। न सिर्फ खूबसूरती बल्कि गोल्फ खेल भी यहाँ का प्रमुख आकर्षण है। इसके अतिरिक्त चंबा, डलहौजी, धर्मशाला, भीमताल आदि स्थानों के साथ-साथ कई धार्मिक स्थल भी गर्मियों में खुल जाते हैं।
उत्तर भारत के अलावा उत्तर-पूर्वी क्षेत्र भी पर्यटन के लिहाज से इस समय उपयुक्त होते हैं। विशेष रूप से दार्जीलिंग, कलिम्पोंग, सिक्किम आदि पर्यटन स्थल हैं। सिक्किम का मुख्य आकर्षण है गंगटोक, जहाँ पहाड़ों पर ट्रेकिंग के साथ-साथ कई प्राकृतिक सौंदर्य का आनंद उठाया जा सकता है।
इस स्थान की एक विशेषता है यहाँ की पारंपरिक तिब्बती संस्कृति जो कि महायान बौद्ध धर्मानुयायियों के रूप में नजर आती है। इस स्थान पर चार से पाँच दिन के एक टूर पर करीब तीन से चार हजार तक का खर्च पड़ेगा जबकि दार्जीलिंग, गंगटोक और कलिम्पोंग के पूरे छः या सात दिनों के टूर पर दस से ग्यारह हजार तक का खर्च हो सकता है।
दक्षिण भारत में भी ऐसे कई स्थान हैं जहाँ आप गर्मियों में जा सकते हैं। आपके लिए कुछ नया अनुभव भी होगा और यहाँ का यातायात सुविधाजनक होने के कारण यहाँ पहुँचने में आपको परेशानी भी अधिक नहीं होगी। दक्षिण भारत के हिल स्टेशनों में तमिलनाडु के कोडाइकनाल को हिल स्टेशनों की राजकुमारी भी कहा जाता है।
यह स्थान 2195 मीटर की ऊँचाई पर स्थित है और पर्यटकों के बीच लोकप्रिय है। हरे-भरे जंगल और वन्य जीवन यहाँ का विशेष आकर्षण है। इसके अलावा कुर्ग (दूसरा नाम कोड़ागु) भी गर्मियों में जाने के लिए अच्छा स्थान है। इस बार गर्मियों की छुट्टियों में कहीं घूमने जाने से पहले इन सब विकल्पों पर जरूर गौर फरमाएँ। क्या पता कौन सा विकल्प आपके लिए यादगार अनुभव बन जाए।
अगर रोमांच से आपकी दोस्ती है और घूमना आपका शौक है तो यकीनन गर्मी के इस मौसम में आप किसी ऐसी जगह की तलाश में होंगे, जहाँ आपका शौक भी पूरा हो और गर्मियों की तपिश भी आपको छू न सके। हैंग ग्लाइडिंग, पैरा ग्लाइडिंग और गर्म गुब्बारे की सैर, अगर आपको कुछ इस तरह के खेलों में दिलचस्पी है तो कांगड़ा, धर्मशाला, दसौली, शिमला, शिलांग आदि कुछ स्थान आपको जरूर आकर्षित करेंगे।
अगर आप इन खेलों में वास्तविक रोमांच का अनुभव चाहते हैं तो कश्मीर और तमिलनाडु की नीलगिरि पर्वतश्रेणी आपको जरूर भाएगी। गर्मी की छुट्टियाँ दरवाजे पर खड़ी हैं। स्कूल बंद होने के बाद बच्चों की सिर्फ एक ही रट होती है कि इन छुट्टियों में हम कहाँ जा रहे हैं? दूसरी ओर, आर्थिक मंदी में न इस साल तनख्वाह बढ़ी और न ही प्रमोशन हुआ। आप जरूर परेशान होंगे कि इन छुट्टियों में परिवार को लेकर कहाँ जाएँ?
बदलाव की जरूरत तो आपको भी है। आखिर परिवार के बहाने ही सही, हफ्तेभर के लिए भी कहीं बाहर गए तो आप खुद को तरोताजा महसूस करेंगे। तो चलिए, हम आपकी मुश्किल आसान किए देते हैं। हम आपको कुछ ऐसी मनमोहक जगहों की जानकारी देते हैं जहाँ की खूबसूरती आपको तरोताजा कर देगी और आपकी जेब भी ज्यादा ढीली नहीं होगी। वक्त इस बात का ध्यान जरूर रखना चाहिए कि परिवार भीड़-भाड़ में परेशानी न उठाए बल्कि एक यादगार और खुशनुमा अनुभव लेकर लौटे।
इस बारे में ट्रेवल एजेंसी यात्रा डॉट कॉम की मुख्य परिचालन अधिकारी और सह-संस्थापक सबीना चोपड़ा बताती हैं, "प्रचलित पर्यटन स्थलों की अपेक्षा चैल, कसौली, भीमताल, लद्दाख, कानाताल, कुर्ग आदि स्थानों पर घूमने जाना समझदारीभरा निर्णय है।"
वहीं दूसरी ओर मेकमायट्रिप के बिजनेस डेवलपमेंट विभाग के उपाध्यक्ष अमित सब्बरवाल का मानना है, "गर्मियों में अक्सर लोग एक साथ कई शहरों के टूरिस्ट पैकेज का चुनाव करते हैं परंतु इस आर्थिक संकट के दौर में पर्यटक एक या दो शहर के पैकेज की ओर अधिक आकर्षित हो रहे हैं।"
ऐसे में उत्तर में कौसानी, अल्मोड़ा, चैल, चौकोरी, रानीखेत, औली, लेह, श्रीनगर, चंबा, कनताल, पूर्वोत्तर में गंगटोक, दार्जीलिंग, डलहौजी व दक्षिण में कुर्ग, ऊटी, मुन्नार, कोडाइकनाल, महाबलेश्वर आदि कुछ स्थान अच्छे विकल्प साबित हो सकते हैं।
उत्तराखंड स्थित कौसानी नामक हिल स्टेशन की प्राकृतिक छटा गर्मियों की छुट्टियों में ताजगी भरने के लिए अपने आप में पर्याप्त है। बागेश्वर जिले में बसा यह छोटा-सा हिल स्टेशन अल्मोड़ा से करीब 53 किलोमीटर उत्तर दिशा में स्थित है। हिमालय की 1890 मीटर ऊँची चोटी पर स्थित इस स्थान से करीब 350 किलोमीटर तक के हिमालय क्षेत्र (त्रिशूल, नंदादेवी और पंचकुली) के दर्शन होते हैं।
यहाँ देवदार के सघन वन हैं जिनके एक ओर सोमेश्वर घाटी और दूसरी ओर गरुड़ व बैजनाथ घाटी स्थित है। कसौनी से ही थोड़ा दक्षिण में स्थित अल्मोड़ा भी गर्मियों के हिसाब से उपयुक्त स्थान है। 1638 मीटर की ऊँचाई पर स्थित यह स्थान प्राकृतिक छटा से भरा हुआ है। अप्रैल से जून तक का समय यहाँ आने के लिए सबसे उपयुक्त है।
अल्मोड़ा 125 मंदिरों का समूह है। न सिर्फ मंदिर बल्कि कई पिकनिक स्पॉट भी अल्मोड़ा के आसपास हैं जहाँ सूर्योदय और सूर्यास्त देखने अक्सर लोग जाते हैं। इसी क्रम में उत्तराखंड का औली नामक हिल स्टेशन भी पर्यटन का सुंदर विकल्प है। हालाँकि यहाँ जाने का सही समय नवंबर से लेकर मार्च तक का महीना होता है जब यहाँ हिमपात होता है और बर्फ पर विविध प्रकार के खेलों के लिए पर्यटक आते हैं, पर गर्मियों में भी इस स्थान की प्राकृतिक सुंदरता मन मोह लेती है।
यदि आप हिमाचल प्रदेश की वास्तविक खूबसूरती का अनुभव लेना चाहते हैं और गर्मियों में शिमला की भीड़-भाड़ से बचना भी चाहते हैं तो शिमला के पास स्थित 'चैल' नामक हिल स्टेशन भी एक बेहतर विकल्प है। धरती का स्वर्ग कहा जाने वाला कश्मीर और श्रीनगर की खूबसूरती तो भला किसका मन नहीं मोहती है।
कश्मीर की वास्तविक सुंदरता देखनी है तो गुलमर्ग से सुंदर विकल्प और क्या हो सकता है। गुलमर्ग जितना गर्मियों में लोकप्रिय है, उतनी ही यहाँ की सर्दियाँ भी लोगों को भाती हैं। न सिर्फ खूबसूरती बल्कि गोल्फ खेल भी यहाँ का प्रमुख आकर्षण है। इसके अतिरिक्त चंबा, डलहौजी, धर्मशाला, भीमताल आदि स्थानों के साथ-साथ कई धार्मिक स्थल भी गर्मियों में खुल जाते हैं।
उत्तर भारत के अलावा उत्तर-पूर्वी क्षेत्र भी पर्यटन के लिहाज से इस समय उपयुक्त होते हैं। विशेष रूप से दार्जीलिंग, कलिम्पोंग, सिक्किम आदि पर्यटन स्थल हैं। सिक्किम का मुख्य आकर्षण है गंगटोक, जहाँ पहाड़ों पर ट्रेकिंग के साथ-साथ कई प्राकृतिक सौंदर्य का आनंद उठाया जा सकता है।
इस स्थान की एक विशेषता है यहाँ की पारंपरिक तिब्बती संस्कृति जो कि महायान बौद्ध धर्मानुयायियों के रूप में नजर आती है। इस स्थान पर चार से पाँच दिन के एक टूर पर करीब तीन से चार हजार तक का खर्च पड़ेगा जबकि दार्जीलिंग, गंगटोक और कलिम्पोंग के पूरे छः या सात दिनों के टूर पर दस से ग्यारह हजार तक का खर्च हो सकता है।
दक्षिण भारत में भी ऐसे कई स्थान हैं जहाँ आप गर्मियों में जा सकते हैं। आपके लिए कुछ नया अनुभव भी होगा और यहाँ का यातायात सुविधाजनक होने के कारण यहाँ पहुँचने में आपको परेशानी भी अधिक नहीं होगी। दक्षिण भारत के हिल स्टेशनों में तमिलनाडु के कोडाइकनाल को हिल स्टेशनों की राजकुमारी भी कहा जाता है।
यह स्थान 2195 मीटर की ऊँचाई पर स्थित है और पर्यटकों के बीच लोकप्रिय है। हरे-भरे जंगल और वन्य जीवन यहाँ का विशेष आकर्षण है। इसके अलावा कुर्ग (दूसरा नाम कोड़ागु) भी गर्मियों में जाने के लिए अच्छा स्थान है। इस बार गर्मियों की छुट्टियों में कहीं घूमने जाने से पहले इन सब विकल्पों पर जरूर गौर फरमाएँ। क्या पता कौन सा विकल्प आपके लिए यादगार अनुभव बन जाए।
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